Monday, May 20, 2024
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क्या आप जानते हैं उदयपुर के प्रसिद्ध मंदिरों के बारे में, नहीं तो पढ़िए पूरी खबर

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India News(इंडिया न्यूज़ )Rajasthan: उदयपुर शहर अपनी सांस्कृतिक पहचान के लिए राजस्थान में एक अलग पहचान रखता है। उदयपुर घूमने जाने वाले लोग यहां के प्राकृतिक सौंदर्य और सुंदरता का आनंद लेते हैं। लेकिन इसी के साथ ही यहां पर कई मंदिर ऐसे भी हैं जो उदयपुर की धार्मिक पहचान बनते हैं। वहीं ये मंदिर उदयपुर के प्रसिद्ध मंदिरों में से हैं। आज हम आपको जिन मंदिरों के बारे में बताने जा रहे हैं उनके दर्शन मात्र से ही मन को शांति सुर सुकून की प्राप्ति होती हैं। जानिए इन मंदिरों के बारे में…

बोहरा गणेश मंदिर

यह मंदिर उदयपुर के सबसे प्रमुख मंदिरों में से एक है जो कि 350 वर्ष से भी ज्यादा पुराना है। यह गणपति नगर में मोहनलाल सुखाड़िया यूनिवर्सिटी के पास स्थित है। यहां पर खड़े गणेश जी की पूजा की जाती है। कहते हैं कि 80 वर्षों पूर्व आसपास के गाँवो के कुछ लोगों ने इस मंदिर के दर्शन किये थे और अपनी समस्या गणेश जी को बताई। उसके बाद उनकी सभी समस्याएं दूर हो गई। तब से यह मंदिर उदयपुर में अपनी एक अलग पहचान रखता है।

महालक्ष्मी मंदिर

महालक्ष्मी मंदिर धन और समृद्धि की देवी को समर्पित है। देवी को श्रीमाली समाज की पारिवारिक देवी माना जाता है, और मंदिर को मैनेज श्रीमाली जाति संपति ट्रस्ट द्वारा किया जाता है। हालांकि मंदिर में रोजाना कई भक्त आते हैं, लेकिन दिवाली के त्यौहार के दौरान यह संख्या कई गुना बढ़ जाती है। श्राद्ध पक्ष के आठवें दिन देवी के जन्मदिन पर भी लंबी कतारें देखी जा सकती हैं, क्योंकि यह दिन यहां बहुत उत्साह के साथ मनाया जाता है।

करनी माता मंदिर

उदयपुर में दूध तलाई झील के पास मचला मगर की पहाड़ियों पर स्थित करनी माता का एक सुंदर मंदिर है। यहां पर आप सीढ़ियों से चढ़ाई करके या फिर रोपवे की सहायता से पहुँच सकते है। यह मंदिर अपनी जगह व यहां से मिलने वाले अद्भुत दृश्य के कारण भी प्रसिद्ध है। यहां से आपको उदयपुर शहर के खूबसूरत नज़ारे के साथ-साथ अरावली की पहाड़ियों व पिछोला झील का मनोहर दृश्य दिखाई देगा।

अम्बा माता मंदिर

यह उदयपुर में फतेह सागर झील के किनारे स्थित माता अम्बा का प्रसिद्ध मंदिर है। इसके पीछे एक रोचक कथा जुड़ी हुई है। कहते हैं कि 17वी सदी में महाराजा राज सिंह को आँख की एक भयानक बीमारी थी जिसके लिए वे गुजरात में स्थित प्रसिद्ध अम्बिका माता के मंदिर जाने वाले थे लेकिन उससे पहले ही माँ अम्बा ने उनके सपने में आकर उदयपुर में ही एक जगह बताई। अगले दिन राजा ने वहां की खुदाई करवाई जिसमे से माँ अम्बा की मूर्ति निकली। उसके बाद महाराजा ने वहां अम्बा माता का विशाल मंदिर बनवाया और उनकी आँख की समस्या भी पूरी तरह से ठीक हो गई।

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