Sunday, July 7, 2024
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प्रदेश में बिना रजिस्ट्रेशन और लाइसेंस के संचालित डॉग ब्रीडर्स और पेट शॉप्स पर रोक

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जयपुर: (licensing for operating dog breeders and pet shops) प्रदेश में कानून सिर्फ इंसानों के लिए ही नही बल्की जानवरो की सुरक्षा के लिए भी बनाए गए है, जिनको अब लागू किया जा रहा है। राजस्थान में पालतू जानवरों की सुरक्षा और संरक्षण के लिए जीव जंतु कल्याण बोर्ड ने प्रभावी कदम उठाते हुए प्रदेश में संचालित डॉग ब्रीडर्स और पेट शॉप्स का रजिस्ट्रेशन जीव जंतु कल्याण बोर्ड में करवाना अनिवार्य कर दिया है। रजिस्ट्रेशन के लिए राज्य में प्रीवेंशन ऑफ़ क्रुएल्टी टू एनिमल्स नियम 2017 और 2018 को लागू कर दिया गया है।

2017 और 2018 के तहत रजिस्ट्रेशन की कैटेगरी 

जीव जंतु कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष के.सी. विश्नोई ने बताया कि ऐसी पेट शॉप और डॉग ब्रीडर्स संस्थाएं जो कि प्रीवेंशन ऑफ़ क्रुएल्टी टू एनिमल्स (डॉग ब्रीडिंग एंड मार्केटिंग रूल्स) 2017 और प्रीवेंशन ऑफ़ क्रुएल्टी टू एनिमल्स( पेट शॉप रूल्स )2018 के तहत रजिस्ट्रेशन की कैटेगरी में हों, उन्हें जीव जंतु कल्याण बोर्ड में तय परफॉर्मा में आवेदन करना अनिवार्य होगा।

इसके लिए नॉन रिफंडेबल एप्लीकेशन फीस 500 रुपए देनी होगी। उन्होंने आगे बताया कि बोर्ड में रजिस्ट्रशन के बाद ही स्थानीय निकाय विभाग की ओर से लाइसेंस दिया जाएगा। लाइसेंस 5 साल पीरियड के लिए वैध रहेगा, इसके बाद रिन्यूअल कराना होगा।

जिस्ट्रेशन के बाद भी समय-समय पर निरीक्षण किए जाएंगे

के.सी. विश्नोई ने यह भी बताया कि रजिस्ट्रेशन प्रोसेस के दौरान बोर्ड की ओर से ऑथोराइज अधिकारियों के द्वारा संस्था का इंस्पेक्शन किया जाएगा और रजिस्ट्रेशन के बाद भी समय-समय पर निरीक्षण किए जाएंगे। जिससे पालतू पशुओं की दुकानों पर ब्रीडिंग और उनके रख-रखाव के संबंध में गुणवत्तापूर्ण काम हो सकेंगे।

अब राज्य में ब्रीडर बिना रजिस्ट्रेशन के ब्रीडिंग का काम नहीं कर सकेंगे। ब्रीडर्स और पेट शॉप मालिक राज्य के ज़िलों के जॉइंट डायरेक्टर ऑफिस और राज्य जीव जंतु कल्याण बोर्ड में संपर्क कर सकते हैं। साथ ही पशुपालन विभाग की वेबसाइट पर जाकर डिटेल में जानकारी ले सकते हैं।

 

 

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