(जयपुर): राजस्थान में सोमवार यानी 12 दिसंबर को दिन भर सोशल मीडिया पर छह नए जिलों के नामों की घोषणा की खबर चलती रही. सभी एक दूसरे से यही जानना चाह रहे थे कि क्या ये खबर सच है या अफवाह! देर शाम तक यही बात चलती रही. इसमें डीडवाना, ब्यावर, बालोतरा, भिवाड़ी, कोटपूतली और फलोदी को जिला बनाने की बात कही जा रही थी.
कोटपूतली (Kotputli district) से लेकर जयपुर तक यह अफवाह छाई रही. हालाँकि, सरकार और कांग्रेस नेताओं ने इसपर कुछ बताया तो नहीं लेकिन इसे सही भी नहीं कहा है. दरअसल, पिछले कई महीनों से राजस्थान में कई नए जिलों को बनाने की मांग हो रही है.
गहलोत सरकार में मंत्री और कोटपूतली के विधायक राजेंद्र यादव ने पिछले दिनों इस्तीफे की चेतावनी दे डाली थी. यादव ने कहा था कि अगर दिसंबर तक कोटपूतली को जिला नहीं बनाया गया तो वे कांग्रेस और विधायक पद से इस्तीफा दे देंगे. सरकार को कोटपूतली (Kotputli district) को जिला घोषित करना ही होगा. वहीं बहरोड़ को जिला बनाने के लिए वहां के विधायक बलजीत यादव ने भी सरकार को चेतवानी दी थी. तो वही भिवाड़ी और नीमराना के लिए तेजी से मांग हो रही है.
रामलुभाया कमेटी की रिपोर्ट के बाद गहलोत सरकार में पांच-छह नए जिले बनाने की चर्चा है. इनमें कोटपूतली, बालोतरा, फलोदी, डीडवाना, ब्यावर, भिवाड़ी के नाम सबसे आगे हैं. जयपुर के सांभरलेक, शाहपुरा, फुलेरा, कोटपूतली, दूदू, विराटनगर, सीकर के नीम का थाना, फतेहपुर, शेखावाटी, श्रीमाधोपुर, खंडेला, झुंझुनू का उदयपुरवाटी, अलवर के बहरोड़, खैरथल, भिवानी, नीमराणा, बाड़मेर का बालोतरा और गुडामालानी, जैसलमेर का पोकरण, अजमेर का ब्यावर, केकड़ी, मदनगंज किशनगढ़, जोधपुर का फलोदी, नागौर के डीडवाना, कुचामन सिटी, मकराना, मेड़ता सिटी, चूरू के सुजानगढ़, रतनगढ़, सुजला क्षेत्र सुजानगढ़, जसवंतगढ़ और लाडनूं क्षेत्र को मिलाकर सुजला के नाम से जिला, श्रीगंगानगर के अनूपगढ़, सूरतगढ़, घड़साना, श्री विजयनगर, हनुमानगढ़ से नोहर, भादरा, बीकानेर का नोखा, कोटा का रामगंज मंडी, बारां का छाबड़ा, झालावाड़ का भवानीमंडी, भरतपुर का डीग, बयाना, कामां नगर और सवाई माधोपुर का गंगापुर सिटी का नाम जिला बनाने की मांग में शामिल है.
वर्ष 2008 में 26 जनवरी को प्रतापगढ़ को नया जिला बनाया था. इसके बाद से नए जिलों की बस चर्चा ही हो रही है, कोई नया जिला नहीं बनाया गया है. तो अब इन्हें जिला बनाकर अशोक गहलोत सरकार एक बड़ा संदेश देना चाहती है.
बीजेपी सरकार ने नए जिलों के लिए 2014 में रिटायर्ड IAS परमेश चंद की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाई थी. इस कमेटी की रिपोर्ट 2018 में आई लेकिन नए जिलों पर कोई ऐलान नहीं हुआ.