(इंडिया न्यूज),नागौर: (Mission Roshni Nagaur 2023) आज कल की हाइटेक दुनिया में बिना मोबाइल और बिना लैपटॉप के पढ़ाई अधूरी सी रह जाती है। मोबाइल और लैपटॉप का इस्तेमाल कोरोना काल के बाद से और भी ज्यादा हो गया है। ऐसे में देर तक मोबाइल और लैपटॉप की स्क्रीनस पर नजर गढ़ाने के कारण बच्चों की ऑखों पर इसका बुरा असर पड़ रहा है। इसी को देखते हुए राजस्थान के नागौर जिले में नैनिहालों के लिए मिशन रोशनी शुरु किया जा रहा है।
राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत मिशन रोशनी चलाया जा रहा है, जिसमें पढ़ने वाले बच्चों की आंखों की टेस्टिंग की जाएगी। जिले में टीम यहां के नौनिहालों के लिए भी मिशन रोशनी शुरू करने की तैयारी में है। जिला कलेक्टर पीयूष ने बताया कि इस अभियान के तहत विशेष रूप से चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग तथा शिक्षा विभाग संयुक्त रूप से काम करेंगे। जिसके लिए पूरी कार्ययोजना को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
अतिरिक्त जिला कलेक्टर मोहनलाल खटनावलिया ने बताया कि नागौर के नन्हे-मुन्नों बच्चे ही हमारे देश का भविष्य हैं, आगामी दिनों में उनकी आंखों की रोशनी को सही सलामत रखने और उसे और अधिक तीक्ष्ण बनाने के लिए मिशन रोशनी संचालित किया जाएगा। इस मिशन रोशनी को संचालित करने का जिम्मा हैल्थ स्क्रीनिंग के लिहाज से जिले में राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत तैनात चिकित्सकों और पैरामेडिकल स्टॉफ की टीमों को दिया जाएगा।
आगे उन्होंने बताया कि इस नवाचार मिशन रोशनी को सफलतापूर्वक संचालित करने के लिए आंखों के स्वास्थ्य से जुड़े एनजीओ लैंस कार्ट फाउण्डेशन तकनीकी सहयोग देगा। जिसके लिए इस संस्था के साथ एमओयू साइन किया जाना है। लैंस कार्ट फाउण्डेशन की टीम बच्चों की आंखों की जांच के साथ-साथ उन्हें आवश्यक उपचार व चश्में आदि भी वितरित करेगी।