इंडिया न्यूज, डीडवाना:
Fieldy App For Identify TB Patient : टीबी मरीजों की पहचान अब उनके खांसने की आवाज से ही जाएगी। इसके लिए फिल्डी एप तैयार किया गया है। इसमें रोगी की आवाज को आठ बार रिकार्ड की जाएगी। केंद्र सरकार ने एडवांस टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करते हुए फिल्डी एप नाम से एक मोबाइल एप तैयार कराया है। एप के जरिये आम आदमी तक घर-घर तक जांच पंहुचाना और भारत को टीबी मुक्त करना है।
फिलडी एप की मदद से कफ साउंड आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस बेस्ड सॉल्यूशन टू डिटेक्ट टीबी प्रोग्राम के तहत इसका ट्रायल हुआ था। दरअसल , सरकारी अस्पतालों में अभी तक टीबी यानी कि बलगम की जांच एक्स-रे या सीबी नाइट मशीन से लगाया जाता है। अब खांसने की आवाज मात्र से ही इस बीमारी का पता चल जाएगा। फिल्डी एप आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से लेस है, जो खांसी के आवाज के नमूने मात्र से टीबी का पता लगाएगी । पायलट प्रोजेक्ट के तहत देशभर में खांसी की आवाज के नमूने इकट्ठे किए जा रहे हैं। डीडवाना से 6 नमूने लिए गए है ।
एप के माध्यम से टीबी मरीज और सभावित टीबी मरीज की आवाज 7 बार रिकॉर्ड की जाएगी। हर बार आवाज अलग अलग तरीके से होगी प्रथम चरण में सर्वे होगा। जिन लोगों की आवाज रिकॉर्ड की जाएगी, उनके नाम पता गोपनीय रखेंगे। रिपोर्ट किसी को शेयर नहीं की जाएगी। नमूने लेते समय व्यक्तिगत टीम पहुंचेगी। पहले व्यक्ति की सहमति ली जाएगी इसके बाद एप को चालू करके 30 सेकंड की आवाज रिकॉर्ड की जाएगी। व्यक्ति से एक से 10 तक गिनती, शब्द और 3 बार खांसने की आवाज रिकॉर्डिंग की जाएंगी।
केंद्र सरकार ने 2025 तक टीबी को जड़ से खत्म करने का लक्ष्य रखा है । टीबी के अधिक से अधिक रोगियों को खोज कर उन्हें स्वस्थ बनाने पर जोर दिया जा रहा है । वर्तमान में कई तरीकों से टीबी रोगियों की पहचान की जा रही है । टीबी मुक्त भारत मुख्य लक्ष्य है।
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