India News (इंडिया न्यूज), National Cancer Awareness Day 2023: कैंसर एक ऐसी जानलेवा बीमारी है, जिसके लक्षणों की पहचान कर पाना बहुत मुश्किल है। ये बिमारी इतना खतरनाक होती है कि इंसान इस बिमारी का नाम सुनते ही आधा मर जाता है। बता दें कि इसकी पहचान करना बहुत मुश्किल है। कैंसर के लक्षण ऐसे होते हैं कि इसकी जल्दी पहचान कर पाना नही हो सकती है। कैंसर की पहचान, रोकथाम और इसके इलाज के लिए हर साल 7 नवंबर के दिन को ‘नेशनल कैंसर जागरूकता दिवस’ के रूप में मनाया जाता है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि साल 2014 से 7 नवंबर के दिन को ‘राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस’ के रूप में मनाया जा रहा है।
वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (WHO) के अनुसार, कैंसर दुनिया भर में मौत का दूसरा प्रमुख कारण है। ग्लोबल लेबल पर बात करें तो 6 में से 1 मौत का कारण कैंसर ही है। साल 2020 में WHO द्वारा जारी ‘इंटरनेशनल एजेंसी फॉर रिसर्च ऑन कैंसर’ (IARC) ‘वर्ल्ड कैंसर रिपोर्ट’ में कहा गया कि एशिया घातक बीमारी के वैश्विक मामलों की कुल संख्या का 49.3% हिस्सा शेयर करता है। रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है कि 2020-2040 तक एशिया में बीमारी के नए मामलों में 59.2% की वृद्धि दर्ज की जाएगी। रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि 10 में से एक भारतीय को अपने जीवनकाल में कैंसर हो जाएगा और 15 में से 1 की इससे मृत्यु हो जाएगी।
वॉकहार्ट हॉस्पिटल के अनुसार, भारत में हर साल 1।1 मिलियन नए कैंसर के मामले सामने आते हैं और इनमें से अधिकांश मामलों का पता तब चलता है जब बीमारी थर्ड स्टेज में पहुंच चुकी होती है यानी जब इंसान का बचना लगभग नामुमकिन होता है।
आपको बता दें कि राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस की घोषणा पहली बार सितंबर 2014 में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्ष वर्धन ने की थी। इसलिए साल 2014 में यह दिन पहली बार मनाया गया था। इसके साथ ही कैंसर का पता कैसे जल्दी लगाया जाए और किस तरह से इलाज की जरूरत है। इसलके बारे में भी लोगों को बताया गया है।
सबसे पहले हम बताएंगे कि कैंसर क्या है। डब्ल्यूएचओ के अनुसार,’कैंसर बीमारियों का एक बड़ा समूह है जो शरीर के लगभग किसी भी अंग या टिश्यूज में शुरू हो सकता है जब असामान्य कोशिकाएं अनियंत्रित रूप से बढ़ती हैं, अपनी सामान्य सीमाओं से परे जाकर शरीर के आस-पास के हिस्सों पर आक्रमण करती हैं या अन्य अंगों में फैल जाती हैं। तो इलके बाद वाली प्रक्रिया को मेटास्टेसिसिंग कहा जाता है और यह कैंसर से मृत्यु का एक प्रमुख कारण है।’
कैंसर होने पर एक टिश्यूज बहुत सारे स्टेज से गुजरकर एक ट्यूमर में बदल जाता है। जो शरीर के अंदर ही अंदर आमतौर पर कैंसर या घाव का रूप ले लेता है। आपकी खराब लाइफस्टाइल कैंसर के प्रमुख कारण हो सकते हैं। स्तन कैंसर और कोलोरेक्टम कैंसर अधिक वजन और कम शारीरिक गतिविधि से जुड़े हैं।
पुरुषों में पेट, फेफड़े, प्रोस्टेट, कोलोरेक्टल और लीवर कैंसर सबसे आम प्रकार के कैंसर हैं, जबकि महिलाओं में स्तन, गर्भाशय ग्रीवा, कोलोरेक्टल, फेफड़े और थायरॉयड कैंसर सबसे आम हैं।
WHO के अनुसार, कैंसर के खतरे को निम्न तरीकों से कम किया जा सकता है:
विभिन्न स्वास्थ्य सेवा संगठन, सरकारी एजेंसियां, और गैर-लाभकारी समूह राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस मनाने के लिए जागरूकता अभियान, सेमिनार और स्क्रीनिंग आयोजित करने के लिए सहयोग करते हैं और देश भर में कैंसर के मामले कम हो इस दिशा में काम करते हैं।